Sahara India Supreme Court Judgement Today: सहारा इंडिया रिफंड पोर्टल से भुगतान मामले में सुप्रीम कोर्ट ने महत्वपूर्ण फैसला दिया है। मोदी सरकार के द्वारा 5000 करोड़ की राशि भुगतान के लिए कोर्ट में IA पेटिशन दायर किया गया था। आइये जानते हैं कि माननीय कोर्ट के आदेश के बाद अब आपका पैसा कब मिलेगा?
Sahara India Supreme Court Judgement Today
पुरे देश के जमाकर्ताओं के साथ सहारा इंडिया के नाम पर बहुत बड़ा घोटाला हुआ है। माननीय सुप्रीम कोर्ट के आदेश 2012 के बाद सभी सहारा इंडिया जमाकर्ताओं को सेबी के द्वारा पैसा मिल जाना चाहिए था। मगर यहीं से सहारा का खेल शुरू हुआ और अधिकतर जमाकर्ताओं का पैसा पहले क्यू शॉप और फिर बाद में विभिन्न सहारा सोसाइटी में कन्वर्ट कर दिया गया। जिसका भंडाभोड़ हमने 16 फरवरी 2022 में किया था।
सहारा इंडिया रिफंड पर सुप्रीम कोर्ट का महत्वपूर्ण फैसला
देश के लाखों जमाकर्ताओं के शिकायत के बाद केंद्र सरकार के अपील पर सुप्रीम कोर्ट के द्वारा सहारा सेवी रिफंड खाते से 5000 करोड़ सेंट्रल रजिस्ट्रार के खाते में ट्रांसफर का आदेश पारित किया जाता है। अमित शाह ने 18 जुलाई 2023 को 5000 करोड़ भुगतान के लिए सहारा रिफंड पोर्टल की शुरुआत की थी। जिस पर क्लेम करने वाले जमाकर्ताओं को 45 दिन में पहली बार 10 हजार रुपया देने का वादा किया गया था। जिसके बाद एक बार फिर से सुप्रीम कोर्ट में 8 नवंबर 2024 को मामले की सुनवाई हुई है।
सुप्रीम कोर्ट में केंद्र की मोदी सरकार समूह के तरफ से IA एप्लीकेशन 247216/2024 लगाकर सहारा समूह की सहकारी समितियों के जमाकर्ताओं के बीच 5000 करोड़ की राशि की संवितरण के लिए समय बढ़ाने की मांग की है। जो कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश दिनांक 29.03.2023 में निहित है। जिसके लिए सरकार के तरफ से 31.12.2025 तक का समय माँगा गया है। इस न्यायालय के दिनांक 29.03.2023 के आदेश द्वारा उपर्युक्त राशि के संवितरण के लिए गठित समिति पहले से ही शुरू की गई कवायद जारी रहेगी।
भारत के विद्वान अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल ने हमें यह जानकारी दी लगभग 1200 करोड़ रुपये की राशि पहले ही संवितरण हो चुकी है। इसलिए, हम समिति के लिए और समय बढ़ाते हैं और अधिकारी चल रही प्रक्रिया को जारी रखें और इसे 31.12.2025 तक पूरा करने का प्रयास करें।
माननीय कोर्ट के समक्ष एक दूसरे IA पेटिशन 227999/2024 पर विद्वान एएसजी द्वारा यह आग्रह किया गया है कि दावेदारों को उल्लिखित कार्यवाही को भारत संघ द्वारा बनाए गए पोर्टल पर उनके रिफंड के दाबे उठाना चाहिए। जिसकी निगरानी न्यायालय द्वारा गठित समिति के द्वारा की जा रही है।
फलस्वरूप पूर्व से लंबित मामलों में आगे की कार्यवाही विभिन्न उच्च न्यायालय या जिला उपभोक्ता विवाद निवारण
आयोग, संलग्न अनुबंध A2 में दिए गए विवरण के अनुसार इस आवेदन के साथ अगले आदेश तक रोक रहेगी। हालाँकि, जिन कथित निवेशकों ने इसकी कार्यवाही की शुरुआत की है, वो अपना दावा भारत सरकार समहू के द्वारा बनाए पोर्टल पर उठाने के लिए स्वतंत्र होंगे। अगली सुनवाई 7 जनवरी 2025 को होगी।
Sahara Supreme Court Order PDF (update soon)
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